ग्वालियर से- शिव सिंह कुशवाह की रिपोर्ट
पुलिस एवं दबंग की मिलीभगत से भूमि पर कब्जा किए जाने को लेकर फरियादी ने लगाई एसपी से न्याय की गुहार
ग्वालियर। ग्वालियर में दबंगों के इतने हौसले बुलंद है कि शासकीय भूमि से लेकर किसानों की भूमि पर जबरन आजा किया जा रहा है आपको बता दें कि लोकेंद्र सिंह गुर्जर पुत्र श्री रणवीर सिंह गुर्जर निवासी केदारपुर जिला ग्वालियर की भूमि पर सुरेश अरोरा नामक दमन के द्वारा पुलिस से सांठगांठ करके प्रार्थी की जमीन पर जब जबरन कब्जा करने का प्रयास किया जा रहा है जिससे प्रार्थी के द्वारा आज एसपी महोदय ग्वालियर के समक्ष एक आवेदन प्रस्तुत कर न्याय के लिए गुहार लगाई एसपी महोदय ग्वालियर के यहां दिए गए आवेदन में फरियादी ने बताया कि प्रार्थी लोकेन्द्र गुर्जर पुत्र रणवीर गुर्जर, निवासी केदारपुर, जिला ग्वालियर का निवासी हूं। जो कि पुलिस थाना झांसी रोड़ के क्षेत्राधिकार में आता है। प्रार्थी के परिवार की पुस्तैनी स्वत्व एवं स्वामित्व आधिपत्य की भूमि केदारपुर, तहसील व जिला ग्वालियर में स्थित है जो कि पुलिस थाना झांसी रोड़ के अंतर्गत आती है जिसका सर्वे क्रमांक 142, 143, 145 है उपरोक्त वर्णित भूमि पर सुरेश अरोरा निवासी 29-सी, हरीशंकरपुरम् ग्वालियर व उसकी पत्नी आशा अरोरा जबरन उक्त भूमि पर कब्जा करने का प्रयास कर रहे है जिसके संबंध में
प्रार्थी के परिवारजन द्वारा एक व्यवहार वाद न्यायालय में प्रस्तुत किया है जो कि वर्तमान में न्यायालय माननीय पंचम व्यवहार न्यायाधीश वर्ग-2 ग्वालियर में लम्बित जिसका प्रकरण क्रमांक 1044/2022 व उन्मान बॉबी गुर्जर बनाम सुभाष खुशी आदि है।श्रीमती आशा अरोरा द्वारा उक्त सम्पत्ति पर सीमांकन हेतु एक आवेदन तहसील महोदय ग्वालियर के समक्ष प्रस्तुत किया था जिसमें तहसीलदार महोदय के द्वारा प्रार्थी के परिवारजन का कब्जा होना पाया गया इसके बावजूद सुरेश अरोरा व उसकी पत्नी आशा अरोरा व पुत्र निखिल अरोरा प्रार्थी की भूमि पर जबरन कब्जा करने का प्रयास करते है और पुलिस थाना झांसी रोड़ से साठगांठ कर झूठे प्रकरण भी दर्ज करा दिया है जिनके अपराध क्रमांक 131/2023 धारा 327, 294, 323 भा०द०सं० एवं एक अन्य प्रकरण धारा 294, 323 भा०द०स० के तहत दर्ज कराये है जिसमें अपराध कमांक 131/2023 में न्यायालय माननीय प्रथम अपर सत्र न्यायाधीश ग्वालियर द्वारा आवेदकगण को अग्रिम जमानत पर उन्मुक्त कर दिया है। जब फरियादी को उक्त बात की जानकारी हुई कि आवेदकगण कोअग्रिम जमानत पर उन्मुक्त किया जा चुका है तब फरियादी ने एक झूठी घटना बताते हुये एक अन्य मिथ्या मामला पुलिस थाना झांसी रोड़ से मिलकर अपराध कमांक 150/2023 धारा 195ए, 294, 506, 34 भा०द०सं० का दर्ज करा दिया। जबकि पुलिस को धारा 195ए भा०द०स० की प्रथम सूचना लिखने का अधिकार नहीं है धारा 195ए के लिये न्यायालय में परिवार दाखिल करना आवश्यक होता है।
जिसके संबंध में माननीय उच्च न्यायालय के न्याय दृष्टांत है।
पूर्व में दिनांक 20.3.2023 को श्रीमान् के समक्ष आवेदन प्रस्तुत किया था कि मेरे परिवारजन के विरूद्ध पुलिस थाना झांसी रोड़ से मिलकर सुरेश अरोरा मिथ्या अपराध दर्ज करा रहा है तब श्रीमान् जी द्वारा मुझ प्रार्थी व मुझ प्रार्थी के परिवारजन को आश्वासन दिया था कि सुरेश अरोरा या उसके परिवारजन द्वारा अगर कोई शिकायत की जायेगी तो उसकी जांच की जायेगी उसके बाद उस पर कार्यवाही की जायेगी। लेकिन पुलिस थाना झांसी रोड़ ने फरियादी निखिल अरोरा
से मिलकर दिनांक 23.3.2023 को सुबह 9.30 बजे की घटना बताते हुये मुझ प्रार्थी
के परिवारजन व रिश्तेदार के विरूद्ध अपराध क्रमांक 150/2023 धारा 195ए, 294,
506, 34 भा0द0स0 का मिथ्या अपराध दर्ज कर लिया है जबकि उक्त प्रथम सूचना रिपोर्ट में वर्णित आरोपीगण घटना समय व घटना दिनांक को घटनास्थल पर
मौजूद ही नहीं थे नं ही ऐसी कोई घटना घटनास्थल पर घटित हुई है। उक्त दोनों अपराधों के आरोपीगण एवं फरियादीगण की श्रीमान् जी चाहे तो टॉवर
लोकेशन भी ले सकते है। जिससे यह स्पष्ट हो सकता है कि उक्त अपराध मिथ्या रूप से पुलिस से मिलकर दर्ज कराया गया है।
अतः निवेदन है कि पुलिस थाना झांसी रोड़ के अपराध क्रमांक 131 / 2023 एवं 150 / 2023 की निष्पक्ष जांच कर एवं पुलिस थाना झांसी रोड़ को झूठी
कार्यवाही एवं मिथ्या अपराध दर्ज करने से रोकने हेतु उचित कार्यवाही करने की
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